Team India Champion T20I World Cup 2024 : 16 साल, 9 महीने और 5 दिन बाद भारत ने टी-20 वर्ल्ड कप जीतने का इंतजार खत्म कर दिया। यह संभव हुआ कप्तान रोहित शर्मा की ऑस्ट्रेलिया-इंग्लैंड के खिलाफ अटैकिंग फिफ्टी और विराट कोहली की प्लेयर ऑफ द फाइनल परफॉर्मेंस से।
रोहित-विराट के साथ टीम के बाकी खिलाड़ी भी अहम रहे, लेकिन इंडियन क्रिकेट के इन 2 दिग्गजों ने भारत की वर्ल्ड कप भूख खत्म करते ही टी-20 से संन्यास (Rohit-Virat T20 Retirement) ले लिया।
साउथ अफ्रीका से फाइनल जीतने के बाद क्या कहा…
विराट कोहली
‘यह मेरा आखिरी टी-20 वर्ल्ड कप था, हम यही अचीव करना चाहते थे। शानदार गेम। रोहित के साथ ओपनिंग पर जाते हुए मैंने उनसे कहा था, किसी दिन आपको लगता है कि अब रन नहीं बनेंगे, फिर आप बैटिंग करने जाते हैं और रन आने लग जाते हैं। भगवान महान हैं, मैं शुक्रगुजार हूं कि टीम को जब सबसे ज्यादा जरूरत थी, तब मैं परफॉर्म कर सका।’
विराट ने आगे कहा, ‘यह मेरा आखिरी टी-20 मैच था। यह हमारा सपना था, हम ICC टूर्नामेंट जीतना ही चाहते थे, हम कप उठाना चाहते थे। मैंने सिचुएशन का सम्मान किया, फोकस रखा और अपनी टीम के हिसाब से खेला। सच कहूं तो मुझे यकीन नहीं हो रहा है कि ये कैसे हो गया, जितना खराब टूर्नामेंट मेरा जा रहा था, मैं फाइनल में परफॉर्म कर खुश हूं।
हम अगर फाइनल हार जाते तब भी मैं संन्यास (Rohit-Virat T20 Retirement) ले लेता। अब नई जनरेशन जिम्मेदारी संभाले। वर्ल्ड कप 2 साल बाद होगा, भारत में बहुत से टैलेंटेड खिलाड़ी हैं, ये टी-20 फॉर्मेट में टीम को आगे ले जाएंगे। मुझे यकीन है कि वे भारत का झंडा इसी तरह लहराएंगे।’
रोहित शर्मा
‘मेरा भी यह आखिरी टी-20 (Rohit-Virat T20 Retirement) था। इस फॉर्मेट को अलविदा कहने का इससे बेहतर समय नहीं हो सकता। मैंने करियर का हर मोमेंट एंजॉय किया। मैंने अपना इंटरनेशनल करियर इसी फॉर्मेट से शुरू किया। मैं यही चाहता था, मैं कप जीतना चाहता था।
मेरे पास शब्द नहीं हैं। मेरे लिए यह बहुत इमोशनल मोमेंट है, मैं ICC ट्रॉफी किसी भी हाल में जीतना चाह रहा था। खुश हूं कि हमने फाइनली यह कर दिखाया।’
विराट कोहली का टी20 कैरियर : विराट दुनिया के उन चुनिंदा खिलाड़ियों में से हैं, जिन्होंने अपने दम पर करियर को आसमान तक पहुंचाया. इसके साथ-साथ टीम का भी परचम बुलंद रहा. कोहली टी20 इंटरनेशनल करियर पर नजर डालें तो वह शानदार रहा है. उन्होंने 125 मैचों में 4188 रन बनाए हैं. उन्होंने इस दौरान 1 शतक और 38 अर्धशतक लगाए हैं. कोहली का सर्वश्रेष्ठ स्कोर नाबाद 122 रन रहा है. कोहली टीम इंडिया के लिए एक भरोसे की तरह रहे हैं. हालांकि उनके लिए यह टी20 विश्व कप अच्छा नहीं रहा. लेकिन उन्होंने फाइनल में 76 रनों की पारी खेलकर भारत की जीत में अहम भूमिका निभाई.
वर्ल्ड कप में कई यादगार पारियां खेलीं, लेकिन फाइनल इनिंग रही बेस्ट
2022 में पाकिस्तान के खिलाफ मेलबर्न में 82 रन, 2014 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ सेमीफाइनल में 72 रन और उसी साल फाइनल में श्रीलंका के खिलाफ 77 रन कोहली की वर्ल्ड कप की बेस्ट पारियां थीं। लेकिन साउथ अफ्रीका के खिलाफ फाइनल में फिफ्टी, वर्ल्ड कप करियर में उनके बेस्ट 76 रन रहे। क्योंकि इसी के दम पर भारत ने 17 साल बाद टी-20 वर्ल्ड कप जीता। जिसके लिए विराट को प्लेयर ऑफ द फाइनल का अवॉर्ड भी मिला।
विराट वैसे तो रन मशीन हैं, लेकिन ICC टूर्नामेंट आते ही उनका बल्ला दोगुनी गति से रन बनाने लग जाता है। टी-20 वर्ल्ड कप तो उनके लिए कुछ ज्यादा ही स्पेशल है। उन्होंने 2012 में इस फॉर्मेट का पहला वर्ल्ड कप खेला, इसमें 2 फिफ्टी लगाई। फिर अगले ही वर्ल्ड कप में 4 फिफ्टी के सहारे 319 रन बना दिए, टीम तब खिताब भले न जीत सकी हो लेकिन विराट प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट बनकर सांत्वना पुरस्कार जरूर ले गए।
2014 में विराट के बनाए 319 रन किसी एक वर्ल्ड कप में एक खिलाड़ी के सबसे ज्यादा रन हैं। यह रिकॉर्ड आज भी कायम हैं। विराट यहीं नहीं रुके, उन्होंने 2016 में 3 फिफ्टी लगाकर 273 रन बनाए। खराब किस्मत से भारत इस बार भी खिताब नहीं जीत सका, लेकिन विराट फिर प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट बने।
2021 में विराट अपनी ही कप्तानी में फ्लॉप रहे, 2022 में उन्होंने फिर कमबैक किया और 4 फिफ्टी लगाकर 296 रन बना दिए। हालांकि, भारत इस बार भी खिताब से दूर रहा, लेकिन विराट टॉप स्कोरर रहे। 2024 में आखिरी टूर्नामेंट की शुरुआती 7 पारियों में विराट 75 रन ही बना सके, लेकिन फाइनल में उन्होंने 76 रन बना डाले और जीत के हकदार बन गए।
रोहित ने टी20 इंटरनेशनल में लगाए हैं 5 शतक – कप्तान रोहित की बात करें तो वे भी दमदार प्लेयर के रूप में उबरे और इसके बाद सफल कप्तान भी साबित हुए. रोहित ताबड़तोड़ बैटिंग के लिए मशहूर रहे हैं. वे स्थिति को देखकर खेलते हैं. लेकिन अधिकतर समय अटैकिंग अप्रोच के साथ नजर आए. रोहित ने भारत के लिए 159 टी20 मैच खेले. इस दौरान 4231 रन बनाए. उन्होंने इस फॉर्मेट में 5 शतक और 32 अर्धशतक लगाए. रोहित का सर्वश्रेष्ठ स्कोर नाबाद 121 रन रहा. उन्होंने कई यादगार पारियां खेली हैं. अहम बात यह है कि उनकी बैटिंग भारत को मुश्किल परिस्थिति में जीत दिलाने में कामयाब भी रही है.
रोहित शर्मा ने 2007 में पहला ही टी-20 वर्ल्ड कप खेला, भारत इसमें जीता। तब से रोहित ने लगातार 9 वर्ल्ड कप खेले। 47 मुकाबलों में उन्होंने 34.85 की औसत और 133.04 की स्ट्राइक रेट से 1220 रन बनाए। इनमें 12 फिफ्टी शामिल रहीं। वह विराट के बाद वर्ल्ड कप के दूसरे टॉप स्कोरर हैं।
2024 से पहले टी-20 वर्ल्ड कप में रोहित की यादगार पारियां बहुत कम थीं। उन्होंने 2007 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ फिफ्टी और फाइनल में पाकिस्तान के खिलाफ 30 रन की अहम पारी खेली। उन्होंने 2010 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 79 रन भी बनाए थे। लेकिन रोहित की 2 सबसे जरूरी पारियां इस बार आईं।
रोहित ने इस बार ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सुपर-8 के आखिरी मैच में महज 41 बॉल पर 92 रन बना दिए। इस पारी ने ऑस्ट्रेलिया को बाहर करने की नींव रखी। उन्होंने फिर सेमीफाइनल में इंग्लैंड के खिलाफ मुश्किल पिच पर 57 रन बनाए और सूर्यकुमार यादव के साथ 75 रन की पार्टनरशिप की, जो मैच विनिंग साबित हुई। फाइनल में वह 8 ही रन बना सके, लेकिन पूरे टूर्नामेंट में उनके अटैकिंग अप्रोच ने भारत को जीत की राह दिखाई।
रोहित 2007 से 2022 तक किसी भी वर्ल्ड कप में 250 से ज्यादा रन नहीं बना सके थे। इससे पहले 2014 में उन्होंने 2 फिफ्टी लगाकर 200 रन बनाए, जो वर्ल्ड कप करियर के एक एडिशन में उनके सबसे ज्यादा रन थे। 2024 में रोहित ने 3 फिफ्टी लगाईं और 156.7 के स्ट्राइक रेट से 257 रन बना दिए। पिछले 9 वर्ल्ड कप में यह उनका बेस्ट स्ट्राइक रेट रहा। रोहित इस बार टूर्नामेंट के दूसरे टॉप स्कोरर भी बने।