Chhattisgarh Kinnar Murder : छत्तीसगढ़ के बलौदाबाजार सिटी कोतवाली अंतर्गत ढाबाडीह गांव के बंद पड़े पत्थर खदान में रायपुर के किन्नर काजल उर्फ कोका कोला की लाश सोमवार को मिली थी। पुलिस ने हत्याकांड का 48 घंटे में राजफाश करते हुए पांच आरोपितों (Kajal Kinnar Murder Case) को पकड़ा है। मठ प्रमुख बनने के लिए ही मुंबई की किन्नर तपस्या ने काजल की 12 लाख रुपये सुपारी देकर हत्या कराई।
पुलिस ने इस मामले में पांच आरोपित तपस्या किन्नर उर्फ मोहम्मद इमरान भोईर 36 साल निवासी किन्नर भवन जोरा रायपुर, निशा श्रीवास किन्नर 51 साल निवासी धरमपुरा सरकारी स्कूल रायपुर, हिमांशु बंजारे 28 साल निवासी मंदिरहसौद, कुलदीप कुमार कुरील 29 साल निवासी राजा तालाब शिव मंदिर गली रायपुर और अंकुश चौधरी 28 साल निवासी शिव चौक राजा तालाब रायपुर को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने आरोपितों से साढ़े 10 लाख नकदी, एक आर्टिका कार, एक मोटरसाइकिल और चाकू बरामद किया गया है। सभी आरोपितों को न्यायालय में पेश करने के बाद जेल भेज दिया गया है।
बता दें कि जिला मुख्यालय से लगे ग्राम ढाबाडीह की एक बंद पडे मुरूम खदान में सोमवार को संदिग्ध परिस्थितियों में तैरती हुई महिला की लाश मिली थी। पुलिस ने मंगलवार को शव की पहचान रायपुर के किन्नर काजल के रूप में की है, जो पिछले चार दिनों से लापता थी। काजल के लापता होने की रिपोर्ट रायपुर के तेलीबांधा थाने में दर्ज थी।
मृतका के कुर्ते से 500-500 रुपए के नोटों की तीन गड्डियां बरामद हुईं, जिनकी कुल रकम डेढ़ लाख रुपए थी। यह बरामदगी मामले को रहस्यमय बना रही थी। फारेंसिक टीम ने घटनास्थल से साक्ष्य एकत्रित किए। प्रथम दृष्टिया ही मामला हत्या का लग रहा था। संभावना जताई जा रही थी कि काजल की मौत खदान में डूबने से नहीं हुई बल्कि उसे कहीं और मारकर खदान में फेंका गया।
मठ प्रमुख बनने की दावेदार थी काजल (Kajal Kinnar Murder Case)
मृतका की शिनाख्त होते ही बलौदाबाजार साइबर सेल की टेक्निकल टीम द्वारा घटना के संबंध में जानकारी जुटाई जा रही थी। हत्याकांड की मुख्य वजह किन्नरों के निवास भवन जोरा रायपुर में सभी किन्नर एक साथ रहते हैं। जिसमें आरोपित तपस्या किन्नर मुंबई महाराष्ट्र से आकर रह रही है।
मृतका काजल लोकल रायपुर की थी। हत्या की मुख्य आरोपित तपस्या किन्नर जोरा मठ की प्रमुख बनना चाहती थी। इसके लिए उसके रास्ते की सबसे बडी चुनौती काजल थी। क्योंकि काजल उर्फ कोका कोला प्रमुख दावेदार थी। इसलिए काजल को रास्ते से हटाने के लिए उसके द्वारा पूरी प्लानिंग की गई थी।
हत्या की योजना बनाना- मठ प्रमुख बनने की चाहत में आरोपित तपस्या द्वारा निशा किन्नर के सांथ मिलकर काजल को रास्ते से हटाने की योजना बनाई। माह सितंबर 2024 में गणेश उत्सव के दौरान काजल की हत्या करने की नीयत से तपस्या किन्नर द्वारा पैसा इकट्ठा कर कुल 12 लाख निशा श्रीवास को दिया।
निशा श्रीवास द्वारा अपने ड्राइवर हिमांशु बंजारे से हत्या करने के लिए एक सुपारी किलर को छह लाख रुपये नकद दिया गया, लेकिन बाद में पता चला कि वह सुपारी किलर किसी अन्य मामले में जेल चला गया है। इसी बीच काजल की हत्या करने के लिए दो अन्य सुपारी किलर अंकुश एवं कुलदीप से सौदा किया गया। इसी बीच घटना दिनांक के दो दिन पूर्व आरोपिता निशा श्रीवास अपने ड्राइवर हिमांशु बंजारे के साथ घटनास्थल ग्राम ढाबाडीह के पास पत्थर खदान को देखने भी पहुंची थी।
इस तरह हत्या कर खदान में फेंक दी लाश (Kajal Kinnar Murder Case)
17 नवंबर की शाम लगभग पांच बजे निशा श्रीवास द्वारा काजल को अपने किसी पहचान वाले से तीन लाख रुपये लेने, जिसमें से बंटवारा में डेढ़ लाख रख लेने का आश्वासन देकर उसे अपनी आर्टिका कार से बलौदाबाजार की ओर ले गई। उसके पीछे-पीछे सुपारी किलर अंकुश और कुलदीप मोटर साइकिल से आ रहे थे। फिर कार को ग्राम अमेरा के पास रोककर पीछे से आ रहे कुलदीप और अंकुश से पैसे लेने की एक्टिंग करते हुए तीन लाख लिया गया, जिसमें से डेढ़ लाख काजल ने अपने पास रख लिए।
इसके बाद कार में बैठे हुए सभी लोग (ड्राइवर हिमांशु, मृतिका काजल और निशा किन्नर) घटनास्थल पहुंचे। तब तक अंधेरा हो चुका था। इसके पीछे सुपारी किलर अंकुश और कुलदीपक बाइक से घटनास्थल पहुंचे। फिर निशा श्रीवास एवं हिमांशु, काजल को छोड़कर कार सहित वहां से भाग गए। तब सुपारी किलर अंकुश और कुलदीप ने काजल पर चाकू से हमला कर उसकी हत्या कर लाश पत्थर खदान में फेंक दिया गया।