Bhilai News : छत्तीसगढ़ के भिलाई नगर पालिक निगम के 3 कांग्रेस पार्षदों ने 10 अगस्त को जिलाध्यक्ष मुकेश चंद्राकर को पार्टी से इस्तीफा (Councilors Resigned) दे दिया है। पार्षदों ने भिलाई महापौर पर कई गंभीर आरोप लगाए हैं। हालांकि अभी पार्षदों का इस्तीफा स्वीकार नहीं किया गया है। बताया जा रहा है कि पार्षदों ने मोबाइल बंद कर शहर छोड़ दिया है।
बताया जा रहा है कि इस्तीफा (Councilors Resigned) देने वालों में वार्ड 3 के पार्षद हरिओम तिवारी, वार्ड 6 के पार्षद रविशंकर कुर्रे और वार्ड 9 की पार्षद रानू साहू शामिल है। तीनों पार्षद उनके वार्ड में विकास न होने और निगम की अनदेखी से काफी समय से नाराज थे। उन्होंने कई बार एमआईसी में अपनी मांगों को रखा, लेकिन ध्यान नहीं दिया तो उनका गुस्सा फूट गया।
इस्तीफे के बाद जिलाध्यक्ष मुकेश चंद्राकर ने पार्षद हरिओम तिवारी, रविशंकर कुर्रे और रानू साहू को मेयर नीरज पाल के बंगले पर बुलाया था। इस दौरान वहां भिलाई विधायक देवेंद्र यादव और महापौर नीरज पाल भी मौजूद थे। वहां मुकेश चंद्राकर ने मेयर नीरज पाल के घर में भिलाई विधायक के साथ बैठक भी की।
पार्षद के इस्तीफे को नामंजूर करते हुए जिलाध्यक्ष मुकेश चंद्राकर उनसे कहा कि तीन दिन इस पर विचार विमर्श किया जाएगा। उसके बाद इस पर निर्णय लिया जाएगा। भले ही अभी इस्तीफा मंजूर नहीं हुआ है, लेकिन इस खबर के बाद कांग्रेस में खलबली मच गई है।
तीनों पार्षदों ने पार्टी से इस्तीफा (Councilors Resigned) सौंपते हुए शहर सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। इससे पूरी की पूरी शहर सरकार हिल गई है। मेयर नीरज पाल ने पार्षदों को समझाने की कोशिश की, लेकिन वो नहीं माने। ऐसा बताया जा रहा है कि इस्तीफा देने के बाद जब तीनों पार्षदों के ऊपर अधिक दबाव आने लगा तो उन्होंने अपना मोबाइल ही बंद कर लिया। साथ ही शहर से भी बाहर चले गए हैं।
तीनों पार्षदों ने आरोप लगाया है कि भिलाई नगर निगम को सबसे अधिक टैक्स वैशाली नगर क्षेत्र से मिलता है। यहां के लोग टैक्स जमा कर निगम का राजस्व भर रहे हैं और निगम की शहर सरकार उन पैसों की बीएसपी बिना स्थाई एनओसी के टाउनशिप में खर्च कर रही है।